बीते 17 फरवरी को जहाँ एक तरफ बिहार बोर्ड 10वीं की परीक्षा की शुरुआत हुई वहीँ दूसरी ओर राज्य के साढ़े चार लाख अनुबंधित शिक्षक अनिश्चितकाल के लिए हड़ताल पे चले गए। इस बारे में हमने पहले ही एक पोस्ट साझा कर दिया है तो आप चाहें तो इस लिंक पर जाके उस पोस्ट को पढ़ सकते हैं।
अब न्यूज़ फॉर नेशन के द्वारा जारी किये गए एक रिपोर्ट में खुलासा किया गया की हड़ताल पर गए शिक्षकों के लिए बिहार शिक्षा विभाग के मुख्य अपर सचिव आरके महाजन ने सुचना दी है की हड़ताल पर गए शिक्षकों के फरवरी माह के वेतन को रोक दिया जाए। वहीँ वेतन सिर्फ उन्ही शिक्षकों को दिया जाए जिन्होंने सरकार द्वारा दिए गए मैट्रिक परीक्षा के वीक्षण कार्य को संपन्न किया है।
शिक्षा विभाग पहले ही कह चुकी है की उच्चतम न्यायालय हड़ताली शिक्षकों द्वारा मांगे गए मांगों के ऊपर अपना फैसला सुना चुकी है वहीँ अब शिक्षकों को हड़ताल पर जाने का कोई मतलब नहीं बनता। इसके अलावा शिक्षा विभाग ने बतलाया की बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने अब हड़ताली शिक्षकों के ऊपर करवाई करने के लिए आदेश जारी कर दिया है जिसके तहत शिक्षकों की निलंबन एवं बर्खास्तगी की जायेगी। इसके अलावा जो शिक्षक मैट्रिक परीक्षा में सौपें गए वीक्षण कार्य से इंकार करेंगे उनपर प्राथमिकी भी दर्ज़ की जायेगी।